श्रावण में बाबा विश्वनाथ के दर्शन के लिए कौन कौन द्वार से मिलेगा प्रवेश,आरती से लेकर श्रृंगार तक की सारणी जाने ।

श्रावण मास के शुभ अवसर पर काशी में शिवभक्तों की भारी भीड़ की संभावनाओं को देखते हुए श्री काशी विश्वनाथ मंदिर न्यास ने दर्शन और सुविधाओं के लिए समुचित प्रबंधन की व्यवस्था की है। हर वर्ष की भांति इस बार भी लाखों श्रद्धालु बाबा विश्वनाथ के दर्शन को काशी आएंगे। इसको ध्यान में रखते हुए मंदिर प्रशासन ने सुरक्षा, स्वास्थ्य और अनुशासित दर्शन के लिए मानक प्रक्रिया (SOP) तैयार की है।

प्रवेश द्वार व्यवस्थाश्रद्धालुओं के लिए श्री काशी विश्वनाथ धाम में छह प्रमुख प्रवेश द्वार निर्धारित किए गए हैं –

गेट नं. 04, गेट नं. 04 बी (नंदुफेरिया), गेट नं. 04 ए (सिल्को), ढुंढिराज प्रवेश मार्ग, सरस्वती फाटक प्रवेश मार्ग और भैरव द्वार/ललिता घाट। हालांकि, गंगा नदी के बढ़ते जलस्तर के कारण ललिता घाट मार्ग से प्रवेश को अस्थायी रूप से बंद कर दिया गया है, अतः केवल पांच प्रवेश द्वार श्रद्धालुओं के लिए खुले रहेंगे।

आरती एवं श्रृंगार कार्यक्रम श्रावण मास में चार सोमवार पड़ रहे हैं:

14 जुलाई: प्रथम सोमवार – बाबा के चल प्रतिमा का श्रृंगार

21 जुलाई: द्वितीय सोमवार – गौरी-शंकर श्रृंगार • 28 जुलाई: तृतीय सोमवार – अर्धनारीश्वर श्रृंगार • 4 अगस्त: चतुर्थ सोमवार – रूद्राक्ष श्रृंगार अंत में 9 अगस्त को पूर्णिमा तिथि पर झूला श्रृंगार संपन्न होगा।

दर्शन व्यवस्था – श्रावण मास के दौरान विशेष दर्शन या प्रोटोकॉल दर्शन पूर्णतः प्रतिबंधित रहेंगे। किसी भी प्रकार की सिफारिश या अनुरोध स्वीकार नहीं किए जाएंगे। मंदिर प्रशासन ने स्पष्ट रूप से श्रद्धालुओं से अपील की है कि वे केवल सामान्य कतार व्यवस्था के माध्यम से ही दर्शन करें और किसी दलाल अथवा फर्जी व्यक्ति के बहकावे में न आएं। साथ ही, यह सलाह दी गई है कि खाली पेट कतार में न खड़े हों, क्योंकि दर्शन की प्रतीक्षा लंबी हो सकती है जिससे स्वास्थ्य पर प्रतिकूल असर पड़ सकता है। यदि कोई व्यक्ति विशेष दर्शन या प्रसाद के बहाने धन की मांग करता है, तो उसे ठगी का प्रयास माना जाएगा। ऐसी स्थिति में तत्काल नजदीकी पुलिसकर्मी या मंदिर कार्मिक को सूचना देने की अपील की गई है।

निषिद्ध वस्तुएं – श्रद्धालुओं को बैग, मोबाइल फोन, पेन, धातु की वस्तुएं आदि मंदिर में लाने की अनुमति नहीं होगी। साथ ही, अत्यधिक भीड़ को देखते हुए धाम में स्थापित बैगेज काउंटर इस बार चालू नहीं रहेंगे। अतः श्रद्धालु इन वस्तुओं को अपने होटल, घर या धर्मशाला में छोड़कर आएं।

चिकित्सकीय सुविधा – पूरे धाम परिसर में पांच स्थानों पर चिकित्सकीय टीम की तैनाती की गई है। साथ ही आरोग्य चिकित्सा केंद्र में डॉक्टरों की शिफ्टवार तैनाती की गई है ताकि किसी भी आपात स्थिति में तुरंत सहायता मिल सके।

खोया-पाया केंद्र और सुरक्षा व्यवस्था – धाम में छह खोया-पाया केंद्र स्थापित किए गए हैं। सुरक्षा हेतु स्थानीय पुलिस बल के अलावा अधिकृत एजेंसी के सुरक्षाकर्मी भी तैनात रहेंगे ताकि किसी भी अनहोनी पर त्वरित नियंत्रण किया जा सके।

निःशुल्क ई-रिक्शा सेवा – वृद्ध, दिव्यांगजन, अशक्त व्यक्तियों और छोटे बच्चों के लिए गोदौलिया से मैदागिन तक नि:शुल्क ई-रिक्शा सेवा उपलब्ध कराई गई है।

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